विवि की हिंदी में गलती, नाम में भी उलझन, पढ़ें विस्तार से

विवि की हिंदी में गलती, नाम में भी उलझन, पढ़ें विस्तार से

आगरा:- हर साल लाखों छात्रों को हिन्दी का पाठ पढ़ाता है। हिन्दी में स्नातक से लेकर डीलिट् तक की पढ़ाई करायी जाती है। मगर विवि खुद सही हिन्दी लिखने के प्रति गंभीर नहीं है। इसे डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय के खंदारी परिसर स्थित छत्रपति शिवाजी मंडपम पर लगे बैनर को देखकर लगाया जा सकता है। विवि की ओर से लगाए गए इस बैनर में विद्यालय तक सही नहीं लिखा गया है। विवि की ओर से लगाए गए बैनर में ‘विधालय’ लिखा हुआ है। साथ ही एक ही दीवार पर लगे विवि के लोगो में कहीं अंबेडकर तो कहीं आंबेडकर लिखा हुआ है।

बता दें कि विवि की ओर से पिछले दिनों खंदारी परिसर में दीक्षांत समारोह आयोजित किया गया। दीक्षांत समारोह छत्रपति शिवाजी मंडपम में कराया गया था। हालांकि अब विवि की ओर से ऑडिटॉरिम पर लगाए गए बैनर में नाम छत्रपति शिवाजी महाराज मंडप कर दिया गया है। यह खबर आप बेसिक शिक्षा न्यूज़ डॉट इन पर पढ़ रहे हैं। बैनर में ऑडिटॉरिम के नाम के नीचे विवि का नाम लिखा गया है। इसे डा. भीमराव अम्बेडकर विश्वविधालय लिखा गया है। ऑडिटॉरियम में लगे विवि के कई लोगो में नाम आंबेडकर के स्थान पर अंबेडकर लिखा हुआ है। कुलसचिव डॉ. विनोद कुमार सिंह के अनुसार बैनर गलती हो गयी थी। उसे हटवा दिया गया है। विवि के सही नाम वाला लोगो ही अब सभी जगह प्रयोग किया जाएगा।

वेबसाइट पर नाम का कंफ्यूजन

डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय की स्थिति यह है कि जिम्मेदारों को अपनी वेबसाइटों पर नाम दिखायी नहीं देता है। इसी के कारण से विवि का लोगो किसी वेबसाइट पर अंबेडकर नाम से लगा हुआ है, तो नहीं पर आंबेडकर के रूप में।

पूर्व राज्यपाल ने किया था ‘आंबेडकर’

विवि का नाम डॉ. भीमराव अंबेडकर विश्वविद्यालय था। मगर पूर्व राज्यपाल रामनाइक ने अंबेडकर को गलत बताते हुए सही नाम ‘आंबेडकर’ करने की बात कही। इसके बाद विवि ने नाम डॉ. भीमराव आंबेडकर विश्वविद्यालय कर दिया।